नई दिल्ली : त्योहारों के मौके पर दिल्ली के सर्राफा कारोबारियों को उम्मीद थी कि सोने की मांग में अच्छी-खासी तेजी आएगी। सोने की कीमतों के 16,100 रुपए प्रति 10 ग्राम के स्तर पर पहुंचने के बाद इसकी खरीदारी में इजाफा भी हुआ। लेकिन पिछले एक-डेढ़ हफ्ते में सोने की कीमतों के गिर कर 15,600-15,700 रुपए के दायरे में पहुंचने के बाद ज्वैलरी की खरीदारी में एक बार फिर गिरावट दिखने लगी है। सर्राफा कारोबारियों के मुताबिक मांग में आई इस कमी की वजह सोने की कीमतों में आई नरमी रही है। लोगों को लग रहा है कि आने वाले वक्त में सोना और गिर सकता है, ऐसे में लोग सोने की खरीदारी से खुद को रोक रहे हैं और कीमतों के और नीचे आने का इंतजार कर रहे हैं।
करोलबाग के कैलाश ज्वैलर्स के कीमती लाल जैन के मुताबिक, 'कुछ दिनों पहले ज्वैलरी की खरीद में जो तेजी आई थी वो अब फिर से मंदी पड़ गई है। ऐसा लग रहा है लोगों ने अचानक से खुद को सोने की खरीद से दूर कर लिया है। कुछ दिनों पहले जहां पूरे हफ्ते अच्छी संख्या में ग्राहक आते थे, अब केवल सप्ताहांत के एक-दो दिन ही अच्छी बिक्री हो रही है।' जैन ग्राहकों का रुझान कम होने की वजह बताते हैं, 'मुझे लगता है कि सोना जब 16,100 रुपए के स्तर पर पहुंचा तो लोगों को लगा कि इसकी कीमतों में और तेजी आ सकती है ऐसे में लोगों ने जमकर खरीदारी की, लेकिन जैसे ही इसकी कीमत 15,600 रुपए के करीब पहुंची लोगों में फिर से यह विश्वास पैदा हुआ कि इसकी कीमतें गिरकर 14,000 रुपए या इसके आसपास पहुंच सकती हैं। इस वजह से हमारे यहां खरीदारी में 15 से 20 फीसदी की कमी आई है।' करोल बाग ज्वैलर्स एसोसिएशन के प्रेसिडेंट वी के खन्ना का भी कुछ ऐसा ही मानना है, 'कीमतों में हो रहे इस तेज उतार-चढ़ाव से ग्राहकों को खरीदारी का फैसला करने में असमंजस की स्थिति पैदा हो रही है। बाजार में पहले से मंदी बनी हुई है। पहले से काफी ऊंचे स्तर पर बने हुए सोने के भाव में एक डेढ़ हफ्ते में ही 500 रुपए प्रति 10 ग्राम का बदलाव आया है। जाहिर तौर पर ज्यादातर ग्राहक फिर से कीमतों के गिरने के इंतजार करने के मूड में आ गए हैं।' सर्राफा कारोबारी बता रहे हैं कि लोग सोने के भाव में स्थिरता आने के इंतजार में रुके हुए हैं। दरीबा बाजार के रतनचंद ज्वालानाथ ज्वैलर्स के तरुण गुप्ता के मुताबिक, 'यह चौंकाने वाली बात लग सकती है, लेकिन यह हकीकत है कि 16,000 के स्तर पर सोने में ज्यादा खरीदारी थी और अब जबकि भाव में गिरावट आई है तो लोग पीछे हट रहे हैं। ग्राहकों के मन में और गिरावट की आशंका बनी हुई है, यही वजह है कि लोग सोना खरीदने में इंतजार करने की रणनीति अपना रहे हैं।' (ईटी हिन्दी)
05 अक्तूबर 2009
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