16 दिसंबर 2009
वनस्पति तेल आयात नवंबर में 36फीसदी बढ़ा
देश का वनस्पति तेल आयात नवंबर में 36 फीसदी बढ़कर 7।54 लाख टन रहा है। औद्योगिक आंकड़ों के मुताबिक गत वर्ष नवंबर में आयात 5.55 लाख टन रहा था। सॉल्वेंट एक्सट्रैक्टर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया ने अपने एक वक्तव्य में कहा कि कुल वनस्पति तेल आयात में खाद्य तेलों की मात्रा सबसे ज्यादा 7,12,677 टन रही है, जबकि गैर खाद्य तेलों का आयात 41,289 टन रहा है। वहीं, नवंबर 2008 के आयात में खाद्य तेलों का हिस्सा 5,19,032 टन था जबकि गैर खाद्य तेलों का आयात 36,310 टन रहा था। सरकार ने खाद्य तेलों की बढ़ती कीमतों पर नियंत्रण के लिए कच्चे खाद्य तेलों के आयात पर से आयात शुल्क पूरी तरह हटा दिया था जबकि रिफाइंड तेलों के आयात पर शुल्क घटाकर 7.5 फीसदी कर दी थी। आंकड़ों के मुताबिक कुल खाद्य तेल आयात में रिफाइंड तेल की हिस्सेदारी 16 फीसदी रही, जबकि बाकी 84 फीसदी क्रूड ऑयल था। वहीं गत नवंबर में कुल खाद्य तेल आयात में रिफाइंड ऑयल की मात्रा 27 फीसदी थी। नवंबर में क्रूड पाम ऑयल निर्यात 4.5 लाख टन रहा, जबकि गत नवंबर में यह 3.63 लाख टन था। आरबीडी पामोलिन का आयात 1.37 लाख टन से घटकर 1.12 लाख टन इस दौरान रहा। कुल आयात में पाम ऑयल की हिस्सेदारी 81 फीसदी रही जबकि गत वर्ष यह 98 फीसदी थी। एसोसिएशन ने पिछले महीने अपने आंकड़ों में कहा था कि सीजन 2008-09 (नवंबर-अक्टूबर) में 86.6 लाख टन वनस्पति तेलों का आयात किया गया जो 1994 में आयात की इजाजत मिलने के बाद से सबसे ज्यादा है। आयात शुल्क हटाए जाने और डॉलर में रुपये के मुकाबले पांच फीसदी तक की गिरावट ने तेलों के आयात को सस्ता बनाने में बड़ी भूमिका निभाई है। (बिज़नस भास्कर)
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