15 जुलाई 2009
बारिश होने से सेब की फसल को फायदा
नई दिल्ली. हिमाचल प्रदेश में पिछले पांच दिनों से बारिश होने के कारण सेब की फसल में सुधार होने की संभावना जताई जा रही है। बीते महीनों में सर्दिर्यो के दौरान बर्फ कम पड़ने और मानसून में देरी के चलते सेब की पैदावार में 50 फीसदी तक गिरावट आने की आशंका है। इससे फसल तैयार होने में 15 दिन से एक माह की देरी होने का अंदेशा भी है। ऐसे में ग्राहकों को सेब के लिए अधिक दाम चुकाने पड़ेंगे।हिमाचल प्रदेश बागवानी विभाग के निदेशक गुरुदेव सिंह ने बिजनेस भास्कर को बताया कि बारिश होने के कारण आगे सेब के आकार और क्वालिटी दोनों में सुधार होने की संभावना है। वहीं भारतीय सेब उत्पादक संघ के अध्यक्ष रविंदर चौहान का कहना है कि बीते दिनों में गर्मी अधिक पड़ने की वजह से सेब के पेड सूखने लगे थे, लेकिन बारिश होने से पेड़ों को पानी मिलने के कारण राहत मिली है। दरअसल पानी की कमी होने के कारण पेड़ से विकास में खाद भी मददगार साबित नहीं हो रही है। अब जमीन में पानी पहुंचने के कारण सेब के पेड़ों का तेज विकास होने लगेगा।लेकिन बारिश होने में देरी होने से पेड़ों को हुए नुकसान की भरपाई आंशिक ही रह सकती है। ऐसे में अब बारिश होने पर भी सेब उत्पादन में भारी गिरावट आ सकती है। विभाग के निदेशक ने बताया कि पिछले सीजन के दौरान 3.5 करोड़ पेटी (25 किलो) सेब का उत्पादन हुआ था जो इस बार करीब 50 फीसदी घटकर 1.8 करोड़ पेटी रह सकता है। राज्य में कम ऊंचाई (5-6 हजार फीट) वालों इलाकों से सेब की सप्लाई शुरू हो चुकी है। चौहान के अनुसार अधिक ऊंचाई (7-8 हजार फीट) वाले इलाकों से सेब की सप्लाई 10 अगस्त से शुरू होने के आसार है। उनका कहना है कि पिछले साल के मुकाबले इस बार मानसून में देरी के चलते सेब की सप्लाई 15 दिन से एक माह लेट हो सकती है। आमतौर पर 20 जून तक राज्य में मानसून आ जाता था, लेकिन इस बार यह काफी देर से आया है। उत्तराखंड, जम्मू-कश्मीर में भी प्रतिकूल मौसम के चलते सेब का उत्पादन घटने के आसार हैं। चौहान का कहना है कि उत्तराखंड में भी सेब का उत्पादन 50 फीसदी से अधिक घट सकता है, वहीं जम्मू कश्मीर में इसमें 20 फीसदी तक की गिरावट आ सकती है। सेब उत्पादन में गिरावट आने के चलते इसके दाम बढ़ने की संभावना है। चौहान के अनुसार इन दिनों कम ऊंचाई वाले इलाकों से आ रहे सेब के दाम 800-1500 रुपये प्रति बॉक्स (20 किलो) चल रहे हैं। जबकि पिछले साल इसके दाम 700-800 रुपये प्रति बॉक्स थे।गौरतलब है कि देश में सबसे अधिक सेब का उत्पादन जम्मू कश्मीर में करीब 70 फीसदी किया जाता है। इसके बाद करीब 25 फीसदी हिमाचल प्रदेश में और शेष उत्तराख्ांड सहित अन्य इलाकों में होता है। हिमाचल प्रदेश के शिमला, कुल्लू, सिरमौर, मंडी, चंबा और किन्नौर इलाकों में सेब का उत्पादन किया जाता है। (Business Bhaskar)
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