नई दिल्ली May 26, 2009
चीनी के थोक कारोबारियों ने चीनी के वायदा पर रोक के बाद चीनी की कीमतों में मामूली गिरावट एवं स्थिरता आने की उम्मीद जाहिर की है।
चीनी के बढ़ते मूल्यों को देखते हुएकृषि मंत्री ने बुधवार को चीनी मिल मालिकों के साथ एक बैठक भी बुलाई है। उधर चीनी मिल मालिकों का कहना है कि चीनी के उत्पादन में पिछले साल के मुकाबले 90 लाख टन से अधिक की गिरावट है इसलिए वायदा पर प्रतिबंध से चीनी के मूल्य में कोई खास गिरावट नहीं आएगी।
मंगलवार को वायदा एक्सचेंज एनसीडीईएक्स में चीनी के लिए कुल 65 करोड़ रुपये का वायदा कारोबार कर किया गया। चीनी का वायदा नवंबर माह तक के लिए चल रहा था। वायदा बाजार में चीनी की कीमत 2500 रुपये प्रति क्विंटल से ऊपर चल रही थी।
वायदा कारोबारियों के मुताबिक सरकार के फैसले के बाद अब कोई नया वायदा नहीं किया जा सकता है सिर्फ किए गए वायदों का निपटान हो सकता है। चीनी के थोक कारोबारियों के मुताबिक वायदा कारोबार के कारण चीनी की कीमत स्थिर नहीं चल रही थी और रोजाना होने वाले उतार-चढ़ाव से उनके कारोबार पर भी असर पड़ रहा था।
वे कहते हैं कि चीनी का उत्पादन इस साल 150 लाख टन से भी कम है जबकि पिछले साल यह उत्पादन 264 लाख टन था। लेकिन सरकार की कच्ची चीनी एवं सफेद चीनी के आयात की अनुमति से आपूर्ति में बढ़ोतरी का अनुमान है।
हालांकि चीनी मिल मालिकों के मुताबिक आयातित कच्ची चीनी को रिफाइन करने के बाद ही उसे बाजार में बिक्री के लिए लाया जा सकता है। और सरकार अब तक 100 लाख टन से अधिक का कोटा जारी कर चुकी है। (BS Hindi)
27 मई 2009
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