नई दिल्ली March 17, 2010
आलू किसानों के बाद अब प्याज उगाने वालों और उसके कारोबारियों की बारी है।
अभी तक प्याज की कीमत देखकर जनता रो रही थी, अब कारोबारी रोएंगे क्योंकि अधिक उत्पादन के कारण प्याज की कीमत भी लगातार गिर रही है। राजस्थान की मंडियों में तो इसके भाव 2.50 से 3 रुपये प्रति किलोग्राम तक लुढ़क गए हैं।
गुजरात के बाजारों में भी यही हाल है। राजकोट में प्याज की कीमत 105 रुपये प्रति क्विंटल तक आ गई है। देश के लगभग सभी राज्यों में प्याज के दाम में पिछले साल के मुकाबले 13-38 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई है। आलम यह है किसबसे उम्दा प्याज के औसत दाम पिछले साल की समान अवधि के मुकाबले 100 रुपये प्रति क्विंटल तक घट चुके हैं।
कारोबारियों के अनुसार बाजार में आवक और उत्पादन को देखते हुए अप्रैल तक प्याज की थोक कीमत 3 से 6 रुपये प्रति किलोग्राम तक हो जाने का अंदेशा है। राजस्थान में पिछले साल के मुकाबले 30 फीसदी अधिक प्याज उत्पादन हुआ है तो महाराष्ट्र, गुजरात, पंजाब, पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों में भी प्याज के उत्पादन में 10 फीसदी तक की बढ़ोतरी हुई है।
आजादपुर मंडी में थोक प्याज विक्रेता राजेंद्र शर्मा कहते हैं, 'दो-तीन दिन पहले पश्चिम बंगाल से 3-4 गाड़ी प्याज दिल्ली की मंडी में बिक्री के लिए भेजा गया था, लेकिन प्याज के दाम कम होने के कारण वहां से आवक नहीं हो रही है। महाराष्ट्र में इस दौरान सबसे अधिक प्याज होता है और वहां की बंपर फसल को देखते हुए प्याज के भाव भी आलू के दाम की तरह कम हो जाएंगे।'
कारोबारियों को इस बात की भी आशंका है कि सरकार ने प्याज उत्पादकों के बचाव में कोई कदम नहीं उठाया तो सैकड़ों प्याज किसान बर्बाद हो सकते हैं। आजादपुर मंडी में बुधवार को प्याज के भाव 4-7 रुपये प्रति किलोग्राम बताए गए। इस दिन प्याज की कुल आवक 16326 क्विंटल रही।
राज्य कीमतों में गिरावट (फीसदी में)*पश्चिम बंगाल 20असम 38उत्तराखंड 18उत्तर प्रदेश 3पंजाब 13हिमाचल प्रदेश 12गुजरात 14 स्त्रोत : एपीएमसी *पिछले साल की तुलना में (बीएस हिंदी)
18 मार्च 2010
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