आर एस राणा
नई दिल्ली। दाल मिलों की मांग में आये सुधार से गुरूवार को मुंबई और चैन्नई में आयातित उड़द की कीमतों में 50 से 150 रुपये प्रति क्विंटल की तेजी दर्ज की गई। दाल मिलों की हाजिर मांग बढ़ी है, जबकि हाजिर में आयातित माल नहीं आ रहे हैं।
हालांकि, उड़द दाल की मांग खपत केंद्रों की कमजोर ही रही। माना जा रहा है कि आगे होटल आदि फिर से खुलने के मांग और कीमतों में तेजी आने का अनुमान है।
घरेलू बाजारों में नई उड़द की कीमतों में क्वालिटी के हिसाब से मिलाजुला रुख रहा। जहां अच्छी क्वालिटी में मिलों की मांग अच्छी थी, वहीं हल्की क्वालिटी में मांग कम होने से भाव में नरमी रही।
उत्पादक मंडियों में नई फसल की आवक का दबाव नहीं बन पा रहा है, साथ ही अच्छी क्वालिटी की उड़द की आवक हल्की क्वालिटी के मुकाबले कम हो रही है।
केंद्र सरकार दालों की कीमतों को नियंत्रण करने के लिए कई कदम उठाये हैं। केंद्र सरकार ने उड़द के आयात की समय सीमा तो बढ़ाई ही है, साथ ही सरकारी एजेंसियों ने दालों के पुराने स्टॉक की बिकवाली बढ़ा दी है। केंद्र सरकार राज्यों को रियायती दर पर बफर स्टॉक से भी दालें बेच रही है।
उधर डीजीएफटी ने मार्च 2021 तक चालू वित्त वर्ष के लिए दाल मिलों को आयात कोटा भी आवंटित किया हुआ है। अधिसूचना के अनुसार प्रत्येक पात्र आयातक को लगभग 97 टन आयात करने की अनुमति होगी।...... आर एस राणा
29 अक्तूबर 2020
मुंबई और चैन्नई में बर्मा उड़द की कीमतों में तेजी, देसी के भाव में मिलाजुला रुख
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