बिजनेस भास्कर नई दिल्ली
एफसीआई को धान की सरकारी खरीद करने और भुगतान करने में आसानी होगीराहत34,495 करोड़ रुपये से बढ़कर 41,095 करोड़ रुपये हुई ऋण सीमानिगम को किसानों को भुगतान करने में होगी सहूलियतसरकार ने भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) की नकद ऋण सीमा में 6,600 करोड़ रुपये की बढ़ोतरी कर दी है। इससे एफसीआई की नकद ऋण सीमा 34,495 करोड़ रुपये से बढ़कर 41,095 करोड़ रुपये हो गई है। नकद ऋण सीमा में बढ़ोतरी से निगम को ज्यादा खाद्यान्नों की खरीद में आसानी होगी। खाद्य मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि सरकार ने एफसीआई की नकद ऋण सीमा को 34,495 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 41,095 करोड़ रुपये कर दिया है, इससे निगम को खाद्यान्न की ज्यादा खरीद के लिए किसानों को समय पर भुगतान करने में सहूलियत होगी।
निगम को गेहूं और चावल की खरीद में हुई बढ़ोतरी तथा पिछले विपणन सीजन में गेहूं किसानों को बोनस देने के कारण ज्यादा रकम खर्च करनी पड़ी थी। बजट 2011-12 में खाद्य सब्सिडी 60,570 करोड़ रुपये की रखी गई है लेकिन इसमें भारी बढ़ोतरी होने का अनुमान है। विपणन सीजन वर्ष 2011-12 में एफसीआई ने न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर 2.5 फीसदी ज्यादा गेहूं की खरीद की थी। इस दौरान कुल खरीद 281.44 लाख टन की हुई है जबकि विपणन सीजन 2010-11 में 224.61 लाख टन गेहूं खरीदा गया था।
विपणन सीजन 2010-11 में एफसीआई ने चावल खरीद 6.46 फीसदी ज्यादा की थी। इस दौरान 341.98 लाख टन चावल खरीदा गया था जबकि विपणन सीजन 2009-10 में 321.23 लाख टन चावल खरीदा था। चालू विपणन सीजन 2011-12 में 15 दिसंबर तक चावल की सरकारी खरीद में 8.19 फीसदी की बढ़ोतरी होकर कुल खरीद 1.33 लाख टन की हो चुकी है। उन्होंने बताया कि विपणन सीजन 2011-12 के लिए सरकार ने गेहूं का एमएसपी 1,120 रुपये प्रति क्विंटल तय किया था तथा किसानों को 50 रुपये प्रति क्विंटल का बोनस भी दिया था।
विपणन सीजन 2011-12 के लिए धान के एमएसपी में सरकार ने 80 रुपये की बढ़ोतरी कर कॉमन ग्रेड धान का भाव 1,080 रुपये और ग्रेड-ए धान के लिए 1,110 रुपये प्रति क्विंटल तय किया हुआ है। जबकि गेहूं के आगामी विपणन सीजन 2012-13 के लिए सरकार ने एमएसपी में 165 रुपये की बढ़ोतरी कर भाव 1,285 रुपये प्रति क्विंटल तय किया है। केंद्रीय पूल में एक दिसंबर को 547.19 लाख टन खाद्यान्न का स्टॉक मौजूद है इसमें 276.56 लाख टन गेहूं और 270.63 लाख टन चावल है। (Business Bhaskar.....R S Rana)
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