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12 फ़रवरी 2009

ओले पड़ने से राजस्थान के दो जिलों में सरसों को नुकसान

राजस्थान, उत्तर भारत में पिछले करीब छत्तीस घंटे के दौरान ओलावृष्टि और बारिश होने के कारण राजस्थान दो जिलों हनुमानगढ़ और चुरू में सरसों की फसल को नुकसान होने की आशंका है। जबकि हरियाणा में गेहूं व सरसों और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में सरसों, चना और गेंहू की फसल को बारिश से फायदा होने की संभावना है। राजस्थान कृषि निदेशालय के आयुक्त हरबंस यादव के अनुसार हनुमानगढ़ व चुरू जिले में करीब 52 हजार हैक्टेयर में सरसों, गेहूं व चने की फसल को ओले गिरने से नुकसान होने की आशंका है। प्रदेश के चुरू व हनुमानगढ़ के अलावा झुंझुनू, अलवर, भरतपुर, बीकानेर, धोलुपर के कई इलाकों में तेज हवा के साथ बारिश हुई है। निदेशालय इन इलाकों में टीम भेजकर फसल की सही स्थिति की जानकारी लेने में जुटा है। राजस्थान में सरसों की फसल लगभग तैयार होने के साथ कई इलाकों में कटाई भी शुरू हो गई है। जयपुर के नजदीकी गांव के एक किसान हीरालाल ने बताया कि प्रत्यक्षतौर पर तो नुकसान नहीं दिख रहा है लेकिन गेहूं व जौ की फलियों में पानी घुसने से अब दानों का विकास ठीक ढंग से नहीं हो पाएगा। भरतपुर स्थित राष्ट्रीय सरसों अनुसंधान केंद्र के अनुसंधानकर्ता डॉ. अशोक शर्मा का कहना है कि सरसों की फसल को केवल उन ही इलाकों में नुकसान पहुंचा जहां ओले गिर हैं। जिन इलाकों में केवल बारिश ही हुई है वहां फसल को कुछ लाभ ही होगा। लेकिन जहां पर सरसों की कटाई शुरू हो गई, वहां किसानों को गीली फलियों को नहीं काटने की सलाह दी जा रही है। हरियाणा के पानीपत, झज्जर, करनाल, सोनीपत और रोहतक में ओले पड़े हैं। गेहूं अनुसंधान निदेशालय करनाल के परियोजना निदेशक डा. जगसोरन ने बताया कि ओले पड़ने से जिन खेतों में गेहूं में बालिया नहीं आई है, उनमें नुकसान नहीं होगा लेकिन जिनमें बालियां आ गई है उनमें नुकसान हो सकता है। चूंकि हरियाणा के ज्यादातर इलाकों में गेहूं के पौधे में बाली नहीं आई है, इसलिए नुकसान होने की आशंका कम है। वैसे स्थिति का जायजा लेने के लिए एक टीम भेजी गई है। मुजफ्फर नगर के कारोबारी हरिशंकर मूंदडा ने बताया कि उत्तर प्रदेश के मेरठ, मुजफ्फरनगर, बिजनौर और सहारनपुर में हल्के ओले और बारिश के कारण गेहूं, चना और सरसों की फसल को फायदा होने की संभावना है। (BS Hindi)

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