गुंटूर February 26, 2009
इस बार मिर्च का मौसम तीन महीने देरी से शुरू होने के आसार हैं। इसकी प्रमुख वजह यह है कि पिछले साल बुआई के दौरान देर से बारिश हुई थी। सामान्यतया जनवरी के तीसरे सप्ताह में मिर्च आनी शुरू हो जाती है।
इस समय गुंटूर के बाजार में करीब 30,000 से 40,000 बोरी मिर्च प्रतिदिन आ रही है। उम्मीद की जा रही है कि मार्च तक इसकी आवक बढ़कर 100,000 बोरी हो जाएगी। कारोबारियों का अनुमान है कि इस साल कुल 60 लाख बोरी मिर्च का उत्पादन होगा, जबकि पिछले साल 90 लाख बोरी उत्पादन हुआ था।
मिर्च की सामान्य किस्में, जिन्हें ठंडाघर में नहीं रखा जाता है, इस समय 2600-5,000 रुपये प्रति क्विंटल की दर से बिक रही हैं। कोल्ड स्टोरेज वाली सामान्य मिर्च 5,100-6,200 रुपये प्रति क्विंटल है। कम्मम में कारोबारी लाल मिर्च के लिए 4,500-5,300 रुपये प्रति क्विंटल दे रहे हैं जबकि तालू का रेट 2,100-2,400 रुपये प्रति क्विंटल चल रहा है।
मिर्च के सेलेक्शन ग्रेड सेक्रेटरी वी हरिनारायण राव ने कहा कि कीमतें अभी और बढ़ेंगी, क्योंकि ताजी मिर्च की आवक मार्च में शुरू होगी। गुंटूर से मिर्च श्रीलंका, मैक्सिको, अमेरिका, नेपाल, खाड़ी देशों और बांग्लादेश को निर्यात की जाती है।
इन देशों में से पहले तीन देश बड़े आयातक हैं। राव ने कहा कि नीलामी में इस समय 5,00 किसान और 370 खरीदार काम कर रहे हैं। बाजार में गुंटूर, प्रकासम, खम्मम, वारंगल, कृष्णा, नेल्लौर, नालगोंडा, आदिलाबाद, कुर्नूल, अनंतपुर और महबूबनगर जिलों से मिर्च आती है। (BS Hindi)
27 फ़रवरी 2009
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