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28 फ़रवरी 2015

फीड निर्माताओं की मांग से मक्का की कीमतों में तेजी का रूख


    उत्पादक राज्यों में मक्का के दाम एमएसपी से भी नीचे
आर एस राणा
नई दिल्ली। फीड निर्माताओं के साथ ही स्टार्च मिलों की मांग से मक्का की कीमतों में सप्ताहभर में 50 से 75 रूपये प्रति क्विंटल की तेजी आई है। हरियाणा व पंजाब पहुंच मक्का के सौदे 1,560 से 1,575 रूपये प्रति क्विंटल की दर से हो रहे हैं। हालांकि उत्पादक मंडियों में मक्का की कीमतें न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) 1,310 रूपये प्रति क्विंटल से नीचे ही बनी हुई है तथा मार्च के आखिर तक रबी मक्का की आवक षुरू हो जायेगी। ऐसे में अप्रैल महीने में कीमतों में गिरावट आने की संभावना है।
मक्का के कारोबारी कमलेष जैन ने बताया कि उत्पादक राज्यों में बढ़िया मक्का की आवक कम हो रही है जबकि होली के त्यौहार के कारण इस समय पोल्ट्ी फीड निर्माताओं की मांग अच्छी बनी हुई है, साथ ही स्टार्च मिलों की मांग भी बराबर बनी हुई है। इसलिए सप्ताहभर में इसकी कीमतों में 50 से 75 रूपये प्रति क्विंटल की तेजी आई है।
गोपाल ट्ेडिंग कंपनी के प्रबंधक राजेष अग्रवाल ने बताया कि उत्पादक राज्यों की मंडियों में मक्का के भाव 1,230 से 1,280 रूपये प्रति क्विंटल चल रहे हैं। मार्च के आखिर तक बिहार, आंध्रप्रदेष और महाराश्ट् में रबी मक्का की आवक षुरू हो जायेगी। हालांकि चालू रबी में मक्का की पैदावार में कमी आने की आषंका है लेकिन निर्यात पड़ते नहीं होने के कारण उत्पादक मंडियों में रबी में मक्का के दाम घटकर 1,150 से 1,200 रूपये प्रति क्विंटल रहने की संभावना है।
एपीडा के अनुसार चालू वित वर्श 2014-15 के पहले 9 महीनों (अप्रैल से दिसंबर) के दौरान 29.74 लाख टन मक्का का निर्यात हुआ है जबकि पिछले वित वर्श की समान अवधि में 33 लाख टन मक्का का निर्यात हुआ था। मक्का निर्यातक दलीप काबरा ने बताया कि विष्व बाजार में भारतीय मक्का के दाम उंचे है इसलिए सितंबर से अभी तक निर्यात सीमित मात्रा में ही हो पाया है। खाड़ी देषों में मक्का के एफओबी भाव 258 से 262 डॉलर प्रति टन हैं।
कृशि मंत्रालय के अनुसार चालू रबी में मक्का की बुवाई 15.37 लाख हैक्टेयर में हुई है जबकि पिछले साल की समान अवधि में 15.53 लाख हैक्टेयर में बुवाई हुई थी। रबी के प्रमुख मक्का उत्पादक राज्य बिहार में मक्का की बुवाई 4.25 लाख हैक्टेयर में हुई है जबकि पिछले साल इस समय तक 4.31 लाख हैक्टेयर में बुवाई हुई थी।.......आर एस राणा

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