04 अप्रैल 2011
पड़ोस के कारोबार पर भी मानेसर का असर
मानेसर February 11, 2011 गुडग़ांव से सटा मानेसर औद्योगिक इकाइयों के लिए राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में सबसे पसंदीदा जगह बनता जा रहा है। राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या-8 पर होने और कुंडली-मानेसर-पलवल (केएमपी) एक्सप्रेसवे बनने की वजह से इस क्षेत्र का महत्व और बढ़ गया है। रिहायशी परियोजनाओं के मामले में भी यह इलाका एनसीआर के दूसरे इलाकों को टक्कर दे रहा है। मानेसर में रियल एस्टेट के बाजार में विस्तार का असर दारुहेड़ा और राजस्थान से सटे इलाके जैसे कोटकासिम और अलवर पर भी पड़ रहा है।मानेसर में रियल एस्टेट बाजार को गति देने में केएमपी की बड़ी भूमिका बताई जा रही है। 1,800 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले 135 किलोमीटर के इस एक्सप्रेसवे से सटे मानेसर की प्रॉपर्टी की कीमतों में काफी तेजी आई है। मानेसर का विकास इंडस्ट्रियल मॉडल टाउनशिप (आईएमटी) के तौर पर हुआ है और इस शहर को चार चरण में विकसित करने की योजना बनाई गई थी। पहले चरण में हरियाणा स्टेट इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट कॉरपोरेशन लिमिटेड ने 1,750 एकड़ जमीन को विकसित किया है। विकास हो गया है और तीसरे चरण के विकास के लिए 600 एकड़ जमीन मारुति सुजूकी को दे दी गई है। जबकि दूसरे और चौथे चरण पर भी काम चल रहा है। मानेसर में हीरो होंडा समेत कई प्रमुख कंपनियों की इकाइयां हैं और नई कंपनियां भी यहां आ रही हैं।मानेसर में रिहायशी प्रॉपर्टी की मांग भी बढ़ रही है। रियल एस्टेट के जानकारों का मानना है कि आने वाले 5 साल में इस इलाके में 5 लाख फ्लैटों की मांग पैदा होगी। पिछले 6 महीने में ही यहां प्रॉपर्टी की कीमतों में तकरीबन 15 फीसदी की तेजी आई है। प्रॉपर्टी कंसल्टेंट इन्वेस्टर्स क्लीनिक के निदेशक विवके सावनी ने बिजनेस स्टैंडर्ड को बताया, 'पिछले साल अगस्त में मानेसर में प्रॉपर्टी की कीमत प्रति वर्ग फुट 2,200 रुपये थी जो अब बढ़कर 2,500 रुपये पर पहुंच गई है। यहां विकसित हो रही परियोजनाओं को ग्राहकों से अच्छी प्रतिक्रिया मिल रही है और बुकिंग हो रही है।'उन्होंने बताया, 'जो लोग गुडग़ांव में महंगी दर पर प्रॉपर्टी नहीं ले सकते वे मानेसर का रुख कर रहे हैं। गुडग़ांव से सिर्फ 20 किलोमीटर की दूरी होने से लोगों को बहुत ज्यादा फर्क नहीं पड़ रहा है। ग्रामीण इलाके से शहरों में आ रहे लोग भी मानेसर को प्राथमिकता दे रहे हैं।'मानेसर के विकास का लाभ दारुहेड़ा और राजस्थान के सटे इलाकों को मिल रहा है। इन इलाकों में कई नामी कंपनियां अपनी रिहायशी परियोजनाएं विकसित कर रही हैं। कोटकासिम में ग्लोबल ईको सिटी विकसित कर रही कंपनी फाल्कन रियल्टी सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड के मुख्य कार्याधिकारी भीम यादव ने बिजनेस स्टैंडर्ड को बताया, 'एनसीआर से सटे नए प्रॉपर्टी बाजारों में 20 लाख रुपये तक की प्रॉपर्टी के लिए काफी संभावनाएं हैं। इसलिए यहां ऐसी परियोजनाओं में खरीदारों की कमी नहीं है।' उन्होंने अपनी कंपनी का उदाहरण देते हुए बताया कि हमारे यहां 13 लाख रुपये से फ्लैट की कीमत शुरू हो रही है और अच्छी बुकिंग को देखते हुए हमने अगले तीन महीने में 80 फीसदी बुकिंग का लक्ष्य रखा है। (BS Hindi)
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