नई दिल्ली December 03, 2008
मौजूदा रबी सीजन में गेहूं उत्पादन की बेहतर संभावना पर मुहर लगाते हुए अमेरिकी कृषि विभाग (यूएसडीए) ने कहा है कि 2009 सीजन में उत्पादन कम होने के बावजूद भारत गेहूं की अपनी जरूरतें पूरी कर लेगा।
यूसडीए ने कहा कि इस तरह भारत बगैर आयात किए भी सार्वजनिक वितरण प्रणाली की अपनी गेहूं जरूरतें पूरी कर लेगा। अपनी ताजा रिपोर्ट में इस विभाग ने कहा, 'अगर गेहूं का उत्पादन और इसकी खरीद 2009 में घटी तो भी सरकार बगैर गेहूं आयात के भी अपने सार्वजनिक वितरण प्रणाली की जरूरतें पूरी कर लेगा।'गौरतलब है कि भारत ने सार्वजनिक वितरण के लिए वर्ष 2006 में 55 लाख टन और 2007 में 18 लाख टन गेहूं का आयात किया था। यूएसडीए का तो यह भी कहना है कि अगर इसकी खरीद ने एक बार फिर 2008 के रिकार्ड स्तर को छूआ तो सरकार को भंडारण की समस्या का सामना करना होगा। ऐसे में सरकार निर्यात की अनुमति देने को बाध्य हो सकती है। यूएसडीए ने कहा, 'इस साल 2.26 करोड़ टन की रिकॉर्ड खरीद के चलते सरकार के गेहूं स्टॉक में पर्याप्त वृध्दि हुई है।' यूएसडीए ने कहा कि 1 अक्टूबर को यह स्टाक करीब 2.2 करोड़ टन था जबकि मानदंड 1.1 करोड़ टन का है।भारत के पास पर्याप्त कैरी ओवर स्टॉक होगा जो 1.2 करोड़ टन तक का हो सकता है। (BS Hindi)
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