नई दिल्ली December 30, 2008
निर्यात बढ़ने और सटोरियों की शॉर्ट कवरिंग से वायदा बाजार में आज मसालों की कीमतों में तेजी आई।
बाजार सूत्रों ने बताया कि कुछ प्रमुख उत्पादक क्षेत्रों में प्रतिकूल मौसम की वजह से फसल के क्षतिग्रस्त होने की आशंका के कारण यहां वायदा बाजार में कीमतें प्रभावित हुई। बाजार विश्लेषकों ने कहा कि इस वर्ष अप्रैल से नवंबर के दौरान अधिकांश प्रमुख मसालों का निर्यात पिछले वर्ष की समान अवधि के मुकाबले कीमतों के हिसाब से 15 प्रतिशत बढ़ा जबकि मात्रा के हिसाब से इसमें छह प्रतिशत की वृध्दि हुई ।जिसके बाद मसालों की कारोबारी धारणा बेहतर हो गई। तब भी वैश्विक वित्तीय संकट से मांग के प्रभावित होने के कारण काली मिर्च का भाव 33.2 प्रतिशत घटकर 16,850 रुपये प्रति टन रह गया। एक विश्लेषक देवेश कुमार ने कहा, 'एक्सचेंज के भंडारगृह में भंडार कम होने और निर्यात में वृध्दि से मसालों की कीमतों में सुधार आया।'एनसीडीईएक्स में काली मिर्च के सर्वाधिक सक्रिय जनवरी अनुबंध की कीमत 107 रुपये बढ़कर 10,120 रुपये प्रति क्विंटल हो गई। फरवरी अनुबंध की कीमत 116 रुपये की तेजी के साथ 10,139 रुपये प्रति क्विंटल हो गई। केरल के कोच्चि में काली मिर्च का हाजिर मूल्य बढ़ कर 10,265 रुपये प्रति क्विंटल हो गई। (BS Hindi)
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