23 फ़रवरी 2011
खेती के लिए नुकसानदेह है खाद: इफ्को एमडी
इफ्को के एमडी उदयशंकर अवस्थी ने खाद के बेतहाशा इस्तेमाल पर चिंता जताते हुए खादों की बढ़ती कीमतों को जायज ठहराया है। उनका कहना है कि कम कीमत होने के कारण किसान अधिक खाद डाल रहे हैं जिससे खेतों की उर्वरता कम हो रही है और यह भविष्य के लिए अच्छी बात नही है।इंडियन फारमर्स फर्टिलाइजर कोऑपरेटिव लिमिटेड दिल्लीClick here to see more news from this city के प्रबंध निदेशक (एमडी) अवस्थी ने पत्रकारों से कहा कि इफ्को देश में उर्वरकों का उत्पादन और विपणन करने वाली सबसे बड़ी संस्था है। पिछले साल इफ्को ने 81.98 लाख टन उर्वरकों का उत्पादन और 118.27 लाख टन उर्वरकों का वितरण किसानों को कराया था। जबकि इस वर्ष अब तक 113 लाख टन उर्वरक किसानों को उपलब्ध कराए जा चुके हैं जबकि इस वर्ष में 125 लाख टन उर्वरक किसानों को उपलब्ध कराएँ जाने का लक्ष्य है।एक सवाल के जवाब में उन्होंने खाद की बढ़ती कीमतों को जायज ठहराते हुए कहा कि आज किसान बिना सोचे-समझे अपने खेतों में अंधाधुंध खाद का उपयोग कर रहे हैं, क्योंकि इसके बारे में उन्हें पर्याप्त जानकारी नहीं है। इसका परिणाम है कि अधिक खाद डालने से कुछ वर्ष भले ही किसानों को अच्छी फसल मिल रही है और उनकी उत्पादकता बढ़ रही है, लेकिन इसके दूरगामी परिणाम खतरनाक है। खेतों में ज्यादा खाद के इस्तेमाल से धीरे-धीरे जमीन की उर्वरता समाप्त हो जाएँगी और फिर कहाँ से खेतों में फसल उगेंगी।अवस्थी ने कहा कि किसानों को खेतों में खाद डालते समय रासायनिक और जैविक खाद के बीच संतुलन बैठाना चाहिए और खाद पर होने वाले खर्च का प्रबंधन भी सूझबूझ के साथ करना चाहिए। इसीलिए जैविक खाद के प्रयोग को बढ़ावा देने की मंशा सरकार की भी है। उन्होंने कहा कि जैविक खाद के प्रति जागरूकता लाने के लिए किसानों को जैविक खाद तैयार करने का प्रशिक्षण दिया जा रहा है तथा इसके लिए किसानों को अनुदान भी दिया जा रहा है ताकि वह अधिक से अधिक जैविक खाद का उत्पादन कर उसका इस्तेमाल करें।उत्तर प्रदेश में इफ्को के कार्यो के बारे में पूछे जाने पर अवस्थी ने बताया कि उत्तर प्रदेश राज्य में अब तक उर्वरको की कुल खपत 74.27 लाख टन के विरुद्ध इफको द्वारा लगभग 31 लाख टन उर्वरक किसानों को उपलब्ध कराया गया है जो कुल उपलब्ध कराए गए उर्वरक का लगभग 43 प्रतिशत है। इस तरह स्पष्ट है कि उत्तर प्रदेश में किसानों द्वारा इस्तेमाल किए जा रहे उर्वरकों के प्रत्येक ढाई बोरे में से एक बोरा इफको का है।उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश में अब तक 675 किसान सभाओं का आयोजन किया गया जिसमें 35 हजार किसानों की भागीदारी हो गई।उन्होंने इफ्को द्वारा चलाई जा रही विभिन्न बीमा योजनाओं के बारे में भी विस्तार से जानकारी दी जिसमें किसानों से संबंधित बीमा भी शामिल थी। (Web Dunia)
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