10 नवंबर 2010
मिलें चालू न होने से गन्ने के दाम घटने लगे
उत्तर प्रदेश में चीनी मिलों द्वारा गन्ने की पेराई शुरू न करने से किसानों की परेशानी बढ़ गई है। मिलों द्वारा पेराई शुरू न करने से कोल्हू में गन्ने की आवक बढ़ गई है। इसीलिए कोल्हू संचालकों ने गन्ने की दाम घटा दिए हैं। किसानों को गन्ना काटकर गेहूं की बुवाई करने के लिए खेत खाली करने हैं। लेकिन मिलों में पेराई शुरू न होने से किसानों को मजबूरन कोल्हू संचालकों को कम दाम पर गन्ना बेचना पड़ रहा है। मुजफ्फरनगर जिले के किसान जगपाल बालियान ने बताया कि कोल्हू संचालक पहले 200 रुपये प्रति क्विंटल की दर से गन्ने की खरीद कर रहे थे। लेकिन मिलों में पेराई शुरू न होने से कोल्हू में गन्ने की आवक बढ़ गई है। इसीलिए कोल्हू संचालकों ने गन्ने के दाम घटाकर 150-160 रुपये प्रति क्विंटल कर दिए हैं। उन्होंने बताया कि 24 बीघे में गन्ना लगाया हुआ है इसमें 10 बीघे में गेहूं की बुवाई करनी है। मिलों में पेराई में और देरी हुई तो मौजूदा कीमतों में और भी कमी आने की आशंका है। शादीपुर मलिक गांव के किसान अरविंद कुमार ने बताया कि पिछले साल गन्ने का अच्छा दाम मिला था। इसीलिए चालू सीजन में गन्ने की बुवाई ज्यादा हुई है लेकिन चीनी मिलों ने अभी तक पेराई शुरू नहीं की है। जबकि गेहूं की बुवाई करने के लिए खेत खाली करने हैं। इसीलिए कम कीमत पर कोल्हू में गन्ना बेचना पड़ रहा है। खरड़ गांव के किसान जितेंद्र मलिक ने बताया कि चालू महीने के शुरू में कोल्हू वाले 190-200 रुपये प्रति क्विंटल की दर से गन्ने की खरीद कर रहे थे। लेकिन मंगलवार को भाव घटाकर 150-155 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया। पिछले साल की तुलना में लागत में बढ़ोतरी हुई है जबकि भाव पिछले साल से करीब 100 से 120 रुपये प्रति क्विंटल कम मिल रहा है। प्रदेश सरकार ने चालू पेराई सीजन के लिए गन्ने का राज्य परामर्श मूल्य (एसएपी) 200-210 घोषित किया हुआ है लेकिन कोल्हू संचालक मनमाफिक भाव पर गन्ने की खरीद कर रहे हैं। मुजफ्फरनगर के किसान गौरव आर्या ने बताया कि मिल न चलने के कारण कोल्हू मालिक मनमाने दामों पर किसानों से गन्ना ले रहे हैं। (Business Bhaskar....R S Rana)
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