26 अगस्त 2013
एफएमसी: एनएसईएल के डिफॉल्टरों पर सख्ती
नेशनल स्पॉट एक्सचेंज (एनएसईएल) मामले का दायरा बढ़ता जा रहा है। कमोडिटी ही नहीं अब इक्विटी मार्केट तक इसका असर दिखने लगा है। बीएसई ने 9 डिफॉल्टरों को एक्सचेंज पर ट्रेडिंग करने से रोक लगा दी है।
हालांकि, कम अधिकारों के बावजूद इस मामले पर सबसे ज्यादा काम करने वाला एफएमसी लगातार प्रोमोटरों पर निवेशकों का पैसा लौटाने का दबाव बढ़ाता जा रहा है। इसीलिए एफएमसी की ओर से होने वाली सारी गतिविधियों पर पूरे बाजार की नजर है।
एफएमसी के चेयरमैन रमेश अभिषेक ने कहा है कि अगर 27 अगस्त को एनएसईएल पेमेंट नहीं करता है तो एक्शन लिया जा सकता है। डिफॉल्टरों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। मंगलवार को एनएसईएल को 178 करोड़ रुपये लौटाने हैं, जबकि एस्क्रो अकाउंट में सिर्फ 8 करोड़ रुपये हैं।
रमेश अभिषेक का कहना है कि डिफॉल्ट से एमसीएक्स के प्रमोटरों और डायरेक्टरों की छवि बिगड़ेगी। एमसीएक्स के प्रमोटरों के खिलाफ भी कार्रवाई की जा सकती है।
रमेश अभिषेक के मुताबिक एफएमसी ने पास सेटलमेंट कराने का ही अधिकार है। एनएसईएल का सेटलमेंट प्लान लंबा है। एनएसईएल पर बाकी आरोपों की जांच दूसरी एजेंसियां करेंगी। (Moneycantrol.com)
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