भारत के पश्चिमी तटों और मध्य भागों में मॉनसून व्यापक रूप में सक्रिय।
इसके चलते कोंकण गोवा, तटीय कर्नाटक, केरल के कुछ हिस्सों, ओड़ीशा और
दक्षिणी छत्तीसगढ़ के कुछ भागों में भारी बारिश हुई है। मध्य प्रदेश,
दक्षिणी गुजरात, गंगीय पश्चिम बंगाल, मेघालय और मणिपुर में कई स्थानों पर
जबकि उत्तर-पश्चिमी उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में कुछ जगहों पर मॉनसून की
सक्रियता के चलते अच्छी वर्षा दर्ज की गई।
पिछले 24 घंटों के दौरान हुई बारिश के आंकड़ों से ऐसा लगता है जैसे कई इलाकों की बारिश एक ही स्थान पर हो गई है। यहाँ मौसम केंद्र ने 374 मिलीमीटर वर्षा दर्ज की। चंदबाली में 120 और महाबलेश्वर में 116 मिलीमीटर बारिश हुई है।
हालांकि देश भर में बारिश अभी भी सामान्य से पीछे है और 18 सितंबर तक कुल बारिश का आंकड़ा सामान्य से 6 प्रतिशत कम पर रहा। पूर्वी और पूर्वोत्तर भारत में सामान्य से 3 फीसदी कम, उत्तर पश्चिम भारत में सामान्य से 10 प्रतिशत कम और मध्य भारत में सामान्य से 8 प्रतिशत कम वर्षा हुई है। दक्षिण भारत में सामान्य बारिश हुई है।
मॉनसून की अक्षीय रेखा इस समय पठानकोट, चंडीगढ़, हरदोई, जमशेदपुर, बालासोर होते हुए बंगाल की खाड़ी में बनी हुई है।
इस परिप्रेक्ष्य में दक्षिण-पश्चिमी मध्य प्रदेश और विदर्भ क्षेत्र में अगले 24 घंटों के दौरान मॉनसून की व्यापक सक्रियता रहेगी और इन भागों में भारी से अति भारी वर्षा देखने को मिल सकती है।
कोंकण गोवा, उत्तरी तटीय कर्नाटक, विदर्भ, मराठवाडा, तेलंगाना, मध्य प्रदेश के शेष भागों, छत्तीसगढ़, ओड़ीशा के कुछ हिस्सों, बिहार, झारखंड और उत्तर प्रदेश के मध्य तथा पूर्वी हिस्सों में भी मॉनसून सक्रिय रहेगा। इन भागों में हल्की से मध्यम वर्षा के आसार हैं।
तटीय ओड़ीशा, नागालैंड, मणिपुर, मिज़ोरम, त्रिपुरा, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल, सिक्किम और उत्तराखंड के कुछ इलाकों में सामान्य मॉनसूनी बारिश देखने को मिल सकती है। आंतरिक कर्नाटक, केरल, तेलंगाना, तटीय आंध्र प्रदेश, मध्य महाराष्ट्र और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में भी कुछ स्थानों पर हल्की वर्षा होने की संभावना है।............www.skymet.com
पिछले 24 घंटों के दौरान हुई बारिश के आंकड़ों से ऐसा लगता है जैसे कई इलाकों की बारिश एक ही स्थान पर हो गई है। यहाँ मौसम केंद्र ने 374 मिलीमीटर वर्षा दर्ज की। चंदबाली में 120 और महाबलेश्वर में 116 मिलीमीटर बारिश हुई है।
हालांकि देश भर में बारिश अभी भी सामान्य से पीछे है और 18 सितंबर तक कुल बारिश का आंकड़ा सामान्य से 6 प्रतिशत कम पर रहा। पूर्वी और पूर्वोत्तर भारत में सामान्य से 3 फीसदी कम, उत्तर पश्चिम भारत में सामान्य से 10 प्रतिशत कम और मध्य भारत में सामान्य से 8 प्रतिशत कम वर्षा हुई है। दक्षिण भारत में सामान्य बारिश हुई है।
मॉनसून की अक्षीय रेखा इस समय पठानकोट, चंडीगढ़, हरदोई, जमशेदपुर, बालासोर होते हुए बंगाल की खाड़ी में बनी हुई है।
इस परिप्रेक्ष्य में दक्षिण-पश्चिमी मध्य प्रदेश और विदर्भ क्षेत्र में अगले 24 घंटों के दौरान मॉनसून की व्यापक सक्रियता रहेगी और इन भागों में भारी से अति भारी वर्षा देखने को मिल सकती है।
कोंकण गोवा, उत्तरी तटीय कर्नाटक, विदर्भ, मराठवाडा, तेलंगाना, मध्य प्रदेश के शेष भागों, छत्तीसगढ़, ओड़ीशा के कुछ हिस्सों, बिहार, झारखंड और उत्तर प्रदेश के मध्य तथा पूर्वी हिस्सों में भी मॉनसून सक्रिय रहेगा। इन भागों में हल्की से मध्यम वर्षा के आसार हैं।
तटीय ओड़ीशा, नागालैंड, मणिपुर, मिज़ोरम, त्रिपुरा, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल, सिक्किम और उत्तराखंड के कुछ इलाकों में सामान्य मॉनसूनी बारिश देखने को मिल सकती है। आंतरिक कर्नाटक, केरल, तेलंगाना, तटीय आंध्र प्रदेश, मध्य महाराष्ट्र और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में भी कुछ स्थानों पर हल्की वर्षा होने की संभावना है।............www.skymet.com
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