11 फ़रवरी 2013
30 फीसदी गिर सकता है निर्यात
मौजूदा वित्त वर्ष के दौरान मूगफली निर्यात में तकरीबन 30 फीसदी गिरावट आ सकती है। केंद्रीय एजेंसी एपीडा ने निर्यात के लिए जो नए मानदंड बनाए हैं, उनसे छोटी प्रसंस्करण इकाइयों और निर्यातकों की परेशानी बढ़ गई है।
एक अनुमान के मुताबिक वित्त वर्ष 2012-13 के दौरान देश का मूंगफली निर्यात लगभग 6,00,000 टन रहेगा, जबकि पिछले वित्त वर्ष के दौरान 8,50,000 टन मूंगफली निर्यात की गई थी।
भारतीय तिलहन एवं उत्पाद निर्यात संवर्धन परिषद (आईओपीईपीसी) के अध्यक्ष राजेश भेडा ने कहा, 'एपीडा ने जो कुछ भी किया है, उसकी जरूरत लंबे समय से थी क्योंकि सरकार को आयातक देशों की तरफ से भारतीय मूंगफली की गुणवत्ता के बारे में शिकायतें मिल रही थीं। लेकिन इस साल हमें लगता है कि मूंगफली का निर्यात 30 प्रतिशत गिरकर 6,00,000 टन रह जाएगा।' आईपीईपीसी केंद्रीय वाणिज्य मंत्रालय की तरफ से मान्यता प्राप्त व्यापार संगठन है।
बहरहाल, विदेश व्यापार महानिदेशक (डीजीएफटी) की तरफ से उपलब्ध कराए गए आंकड़ों के मुताबिक वित्त वर्ष 2011-12 में देश का मूंगफली (छिलके वाली) निर्यात 8,21,000 टन रहा था, जबकि वित्त वर्ष 2012-13 में सितंबर तक का निर्यात 3,30,141 टन रहा। (BS Hindi)
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