डॉलर 13.5 साल की ऊंचाई पर चला गया है। ऐसे में ग्लोबल कमोडिटी मार्केट
में गिरावट बढ़ गई है। खास तौर से सोना करीब 8 महीने के निचले स्तर पर आ
गया है। इस हफ्ते डॉलर में करीब 2.5 फीसदी की मजबूती आई है। दरअसल अमेरिकी
इकोनॉमी के काफी अच्छे आंकड़े आ रहे हैं। ऐसे में वहां अगले महीने ब्याज
दरें बढ़ने की संभावना जताई जा रही है। 13 और 14 दिसंबर को फेडरल रिजर्व की
अहम बैठक है। और इससे ठीक पहले फेड चेयरमैन जेनेट येलेन ने भी ब्याज दरें
बढ़ने का संकेत दिया है।
वहीं मजबूत डॉलर से कच्चा तेल भी दबाव में है। इसमें करीब 1 फीसदी नीचे कारोबार हो रहा है। वहीं लंदन मेटल एक्सचेंज पर कॉपर का दाम करीब 1 फीसदी गिर गया है। इस हफ्ते कॉपर में करीब 2 फीसदी की गिरावट आ चुकी है। 11 नवंबर के बाद से कॉपर करीब 10 फीसदी का गोता लगा चुका है। हालांकि डॉलर में उछाल से रुपया बिखर गया है और ये 20 हफ्ते के निचले स्तर पर आ गया है। एक डॉलर की कीमत 67 रुपये के पार चली गई है।
वहीं मजबूत डॉलर से कच्चा तेल भी दबाव में है। इसमें करीब 1 फीसदी नीचे कारोबार हो रहा है। वहीं लंदन मेटल एक्सचेंज पर कॉपर का दाम करीब 1 फीसदी गिर गया है। इस हफ्ते कॉपर में करीब 2 फीसदी की गिरावट आ चुकी है। 11 नवंबर के बाद से कॉपर करीब 10 फीसदी का गोता लगा चुका है। हालांकि डॉलर में उछाल से रुपया बिखर गया है और ये 20 हफ्ते के निचले स्तर पर आ गया है। एक डॉलर की कीमत 67 रुपये के पार चली गई है।
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