नई दिल्ली। दाल मिलों की हाजिर मांग कमजोर होने के कारण गुरूवार को दिल्ली के नया बाजार में मसूर और चना की कीमतों में नरमी आई, जबकि अन्य दालों के दाम स्थिर बने रहे।
सरकार की नीतियों में लगातार बदलाव के कारण दलहन उद्योग पर दबाव बना हुआ है। इसके अलावा, कोरोनावायरस को रोकने के लिए किए गए लॉकडाउन जैसे उपायों के कारण दालों की खपत पर भी असर पड़ा है।
दाल मिलों की हाजिर मांग कमजोर होने के कारण कनाडा और मध्य प्रदेश लाईन की मसूर की कीमतों में 25-50 रुपये की गिरावट आकर भाव क्रमश: 6,600 रुपये प्रति क्विंटल रह गए। दालों में खुदरा के साथ ही थोक में ग्राहकी कमजोर बनी रही।
चेन्नई और मुंबई में कीमतों में आई नरमी के कारण दिल्ली में बर्मा उड़द एफएक्यू और एसक्यू दोनों नई और पुरानी के भाव क्रमश: 6,500 से 6,550 रुपये और 7,150 से 7,225 रुपये प्रति क्विंटल पर स्थिर बने रहे।
दाल मिलों की मांग कमजोर होने से बर्मा की लेमन अरहर के भाव 6,300 रुपये प्रति क्विंटल पर स्थिर बने रहे। चेन्नई हाजिर बाजार में अरहर की कीमत 6,150 रुपये प्रति क्विंटल बोली गई। आगे के सौदों में, बर्मा की नई अरहर के दाम चेन्नई से दिल्ली के लिए जुलाई डिलीवरी के भाव 6,500 रुपये प्रति क्विंटल पर स्थिर बने रहे।
नेशनल कमोडिटी एंड डेरिवेटिव्स एक्सचेंज, एनसीडीईएक्स पर जुलाई डिलीवरी वायदा अनुबंध में चना की कीमतों में 85 रुपये की गिरावट आई, जबकि अगस्त वायदा अनुबंध में इसकी कीमतों में 106 रुपये का मंदा आया।
12 जुलाई 2021
दिल्ली में मसूर और चना की कीमतों में नरमी, अन्य दालों के दाम स्थिर
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