आर एस राणा
नई दिल्ली। चालू खरीफ सीजन में दलहन के साथ ही कपास और तिलहनों की बुवाई आगे चल रही है लेकिन धान की रौपाई पिछे चल रही है। हालांकि अभी खरीफ फसलों की बुवाई शुरुआती चरण में है तथा आगामी दिनों में मानसूनी बारिश होने के बाद बुवाई में तेजी आयेगी।
कृषि मंत्रालय के अनुसार अभी तक देशभर में खरीफ फसलों की बुवाई बढ़कर 69.16 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल की समान अवधि में इसकी बुवाई 62.62 लाख हैक्टेयर में ही हुई थी। खरीफ की प्रमुख फसल धान की रौपाई अभी तक 1.75 लाख हैक्टेयर में ही हुई है जबकि पिछले साल इस समय तक 1.76 लाख हैक्टेयर में रौपाई हो चुकी थी।
कपास की बुवाई चालू खरीफ में बढ़कर अभी तक 11.24 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल की समान अवधि में इसकी बुवाई केवल 8.84 लाख हैक्टेयर में ही हो पाई थी। कपास की बुवाई अभी शुरुआती चरण में है तथा चालू सीजन में कपास के भाव काफी उंचे रहे हैं जिसकी वजह से बुवाई पिछले साल से 10 से 12 फीसदी ज्यादा होने का अनुमान है। उत्तर भारत के प्रमुख कपास उत्पादक राज्यों हरियाणा में कपास की बुवाई बढ़कर 5.83 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल राज्य में 5 लाख हैक्टेयर में बुवाई हुई थी। इसी तरह से पंजाब में चालू खरीफ में कपास की बुवाई बढ़कर 4.44 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक राज्य में 2.30 लाख हैक्टेयर में ही बुवाई हुई थी। राजस्थान में चालू सीजन में कपास की बुवाई 1.10 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है।
कृषि मंत्रालय के अनुसार चालू खरीफ में दलहन की बुवाई बढ़कर 1.12 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक देशभर में केवल 71,000 हैकटेयर में बुवाई हुई थी। अभी तक दलहन की कुल बुवाई में अरहर की बुवाई 6,000 हैक्टेयर में, उड़द की 33,000 हैक्टेयर में और मूंग की बुवाई 24,000 हैक्टेयर में हो चुकी है।
तिलहनों की बुवाई चालू खरीफ में 1.27 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 48,000 हैक्टेयर में हो चुकी है। खरीफ तिलहन की प्रमुख फसल सोयाबीन की बुवाई 23,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 20,000 हैक्टेयर में ही बुवाई हुई थी। मूंगफली की बुवाई भी चालू खरीफ में बढ़कर 11,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 5,000 हैक्टेयर में हुई थी। सनफलावर की बुवाई 10,000 हैक्टेयर में हो चुकी है। सीशम सीड की बुवाई चालू खरीफ में बढ़कर 83,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक केवल 14,000 हैक्टेयर में हुई थी।
मोटे अनाजों की बुवाई चालू खरीफ में बढ़कर 54,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 22,000 हैक्टेयर में बुवाई हुई थी। मोटे अनाजों में ज्वार की बुवाई 26,000 हैक्टेयर में और मक्का की बुवाई भी 26,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जोकि पिछले साल की समान ज्यादा है। गन्ने की बुवाई चालू खरीफ में बढ़कर 46.53 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 43.87 लाख हैक्टेयर में ही बुवाई हो पाई थी। ..................... आर एस राणा
नई दिल्ली। चालू खरीफ सीजन में दलहन के साथ ही कपास और तिलहनों की बुवाई आगे चल रही है लेकिन धान की रौपाई पिछे चल रही है। हालांकि अभी खरीफ फसलों की बुवाई शुरुआती चरण में है तथा आगामी दिनों में मानसूनी बारिश होने के बाद बुवाई में तेजी आयेगी।
कृषि मंत्रालय के अनुसार अभी तक देशभर में खरीफ फसलों की बुवाई बढ़कर 69.16 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल की समान अवधि में इसकी बुवाई 62.62 लाख हैक्टेयर में ही हुई थी। खरीफ की प्रमुख फसल धान की रौपाई अभी तक 1.75 लाख हैक्टेयर में ही हुई है जबकि पिछले साल इस समय तक 1.76 लाख हैक्टेयर में रौपाई हो चुकी थी।
कपास की बुवाई चालू खरीफ में बढ़कर अभी तक 11.24 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल की समान अवधि में इसकी बुवाई केवल 8.84 लाख हैक्टेयर में ही हो पाई थी। कपास की बुवाई अभी शुरुआती चरण में है तथा चालू सीजन में कपास के भाव काफी उंचे रहे हैं जिसकी वजह से बुवाई पिछले साल से 10 से 12 फीसदी ज्यादा होने का अनुमान है। उत्तर भारत के प्रमुख कपास उत्पादक राज्यों हरियाणा में कपास की बुवाई बढ़कर 5.83 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल राज्य में 5 लाख हैक्टेयर में बुवाई हुई थी। इसी तरह से पंजाब में चालू खरीफ में कपास की बुवाई बढ़कर 4.44 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक राज्य में 2.30 लाख हैक्टेयर में ही बुवाई हुई थी। राजस्थान में चालू सीजन में कपास की बुवाई 1.10 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है।
कृषि मंत्रालय के अनुसार चालू खरीफ में दलहन की बुवाई बढ़कर 1.12 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक देशभर में केवल 71,000 हैकटेयर में बुवाई हुई थी। अभी तक दलहन की कुल बुवाई में अरहर की बुवाई 6,000 हैक्टेयर में, उड़द की 33,000 हैक्टेयर में और मूंग की बुवाई 24,000 हैक्टेयर में हो चुकी है।
तिलहनों की बुवाई चालू खरीफ में 1.27 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 48,000 हैक्टेयर में हो चुकी है। खरीफ तिलहन की प्रमुख फसल सोयाबीन की बुवाई 23,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 20,000 हैक्टेयर में ही बुवाई हुई थी। मूंगफली की बुवाई भी चालू खरीफ में बढ़कर 11,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 5,000 हैक्टेयर में हुई थी। सनफलावर की बुवाई 10,000 हैक्टेयर में हो चुकी है। सीशम सीड की बुवाई चालू खरीफ में बढ़कर 83,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक केवल 14,000 हैक्टेयर में हुई थी।
मोटे अनाजों की बुवाई चालू खरीफ में बढ़कर 54,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 22,000 हैक्टेयर में बुवाई हुई थी। मोटे अनाजों में ज्वार की बुवाई 26,000 हैक्टेयर में और मक्का की बुवाई भी 26,000 हैक्टेयर में हो चुकी है जोकि पिछले साल की समान ज्यादा है। गन्ने की बुवाई चालू खरीफ में बढ़कर 46.53 लाख हैक्टेयर में हो चुकी है जबकि पिछले साल इस समय तक 43.87 लाख हैक्टेयर में ही बुवाई हो पाई थी। ..................... आर एस राणा
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