30 नवंबर 2013
भारतीय बाजारों में रबर की कीमत वैश्विक स्तर से नीचे
छह महीने के अंतराल के बाद प्राकृतिक रबर की स्थानीय कीमतें वैश्विक स्तर से नीचे 152 रुपये प्रति किलोग्राम पर आ गई हैं। बेंचमार्क आरएसएस-4 ग्रेड का भाव आज 152 रुपये रहा, जबकि बैंकॉक बाजार में कीमत 154 रुपये प्रति किलोग्राम रही। इस साल मई में स्थानीय कीमत 168 रुपये थी, जबकि बैंकॉक में 171 रुपये प्रति किलोग्राम। उसके बाद से स्थानीय बाजार में कीमतें अंतरराष्ट्रीय बाजार से ऊंची बनी हुईं थीं। कई बार यह अंतर 15-17 रुपये प्रति किलोग्राम था और इस वजह से देश में प्राकृतिक रबर का भारी आयात हुआ।
स्थानीय कीमतें आपूर्ति में भारी वृद्धि और कमजोर स्थानीय मांग के कारण पिछले कुछ महीनों से गिर रही हैं। इसके बावजूद अब तक कीमतें वैश्विक बाजारों से 3-5 रुपये प्रति किलोग्राम ज्यादा थीं। रबर बागानों में यह वर्ष के सबसे अधिक उत्पादन का समय है, इसलिए कोट्टायम और कोच्चि जैसे स्थानीय बाजारों में आपूर्ति बढ़ी है। विशेषज्ञों के मुताबिक आपूर्ति में इजाफे से स्थानीय बाजार में गिरावट का रुख है और यह जनवरी तक जारी रहने की संभावना है। रबर उत्पादन का सबसे बेहतर सीजन अक्टूबर से दिसंबर तक होता है और जनवरी में भी टैपिंग सक्रिय रहेगी। इसलिए आने वाले सप्ताह में रबर की आवक और बढ़ेगी, जिससे कीमतों में और गिरावट आएगी।
विशेषज्ञों ने बिज़नेस स्टैंडर्ड को बताया कि वैश्विक कीमतों में भी गिरावट का रुख है, क्योंकि दुनियाभर में मांग कमजोर बनी हुई है। इसकी प्रति किलोग्राम कीमत 2 डॉलर पर आकर रुकने की संभावना है, क्योंकि इस जिंस की मांग में साफ तौर पर कमजोरी दिखाई दे रही है।
कोचिन रबर मर्चेन्ट एसोसिएशन (सीआरएमए) के पूर्व अध्यक्ष एन राधाकृष्णन ने कहा कि आपूर्ति बढ़ रही है, लेकिन मांग कमजोर है। इस वजह से उत्पादकों पर बिकवाली का भारी दबाव है और इससे कीमतों में गिरावट आ रही है। कारोबारियों के एक वर्ग का मानना है कि दिसंबर के अंत तक कीमत गिरकर 130 रुपये प्रति किलोग्राम पर आने की संभावना है। कीमतों में ऐसी भारी गिरावट की आशंका से ज्यादातर उत्पादक केद्रों पर बिकवाली का दबाव बना हुआ है। वैश्विक स्तर पर मांग विशेष रूप से चीन में कम है। चीन रबर का सबसे बड़ा उपभोक्ता है। (BS Hindi)
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें