नई दिल्ली। पहली अक्टूबर 2024 से शुरू हुए चालू गन्ना पेराई सीजन 2024-25 (अक्टूबर से सितंबर) में अप्रैल 25 के अंत तक चीनी का उत्पादन 256.95 लाख टन का ही हुआ है, जोकि पिछले पेराई सीजन की समान अवधि के 314.65 लाख टन की तुलना में 18.33 फीसदी कम है।
राष्ट्रीय सहकारी चीनी कारखाना संघ (एनएफसीएसएफ) के अनुसार अप्रैल अंत तक देशभर में केवल 19 चीनी मिलों में पेराई चल रही है, इसमें सबसे ज्यादा उत्तर प्रदेश में लगभग 10 चीनी मिलें अभी भी चालू हैं। इसके अलावा तमिलनाडु में 8 मिलें चल रही हैं। जबकि महाराष्ट्र के पुणे में एक चीनी मिल पेराई कर रही है।
चालू पेराई सीजन में देश में चीनी की औसत रिकवरी दर पिछले सत्र की तुलना में कम बैठी है। एनएफसीएसएफ के अनुसार 30 अप्रैल 2025 तक औसत चीनी की रिकवरी दर 9.31 फीसदी बैठी है, जबकि पिछले पेराई सीजन की समान अवधि के दौरान रिकवरी 10.10 फीसदी की बैठी थी।
एनएफसीएसएफ के अनुसार उत्तर प्रदेश में चालू पेराई सीजन में 122 मिलों ने पेराई की आरंभ की थी, जिनमें से 111 ने पेराई बंद कर दी है। राज्य की मिलों ने अप्रैल अंत तक 948 लाख टन गन्ने की पेराई की है, जिससे औसत चीनी रिकवरी 9.75 फीसदी की बैठी है, जिसके परिणामस्वरूप 92.45 लाख टन चीनी का उत्पादन हुआ है।
महाराष्ट्र में 200 मिलों ने चालू सीजन में पेराई आरंभ की थी, जिसमें से 199 ने पेराई बंद कर ली है तथा एक मिल चालू है। राज्य में चीनी की रिकवरी औसत 9.50 फीसदी की आई है, तथा मिलों ने 851.58 लाख टन गन्ने की पेराई की है। इस दौरान 80.90 लाख टन चीनी का उत्पादन हुआ है।
कर्नाटक में सभी 79 मिलों ने पेराई बंद कर दी है। अत: चालू पेराई सीजन में औसतन 8.05 फीसदी की रिकवरी के साथ 501.86 लाख टन गन्ने की पेराई की गई है, जिससे 40.40 लाख टन चीनी का उत्पादन हुआ है।
तमिलनाडु में 30 में से 23 मिलों ने पेराई पूरी कर ली है, जिसमें 8.35 फीसदी की औसत रिकवरी के साथ 57.49 लाख टन गन्ने की पेराई की है। अत: राज्य में 4.80 लाख टन चीनी का उत्पादन हुआ है।
अन्य राज्यों गुजरात, आंध्र प्रदेश, बिहार, हरियाणा, पंजाब, मध्य प्रदेश, तेलंगाना और उत्तराखंड को मिलाकर चालू पेराई सीजन के अंत तक कुल चीनी का उत्पादन 261 लाख टन होने का अनुमान है।

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