आर एस राणा
नई
दिल्ली। प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (पीएम-किसान) योजना के दायरे में
जहां उत्तर प्रदेश के 93 फीसदी किसान आ रहे हैं, वहीं महाराष्ट्र के 80
फीसदी किसानों को इसका लाभ मिलेगा लेकिन जोत की संख्या दो हेक्टेयर से
ज्यादा होने के कारण राजस्थान के लगभग 40 फीसदी किसान इस योजना के दायरे से
बाहर रहेंगे।
खेती दो हेक्टेयर से ज्यादा है इसलिए पीएम-किसान
योजना के दायरे बाहर, लेकिन खेती पूरी तरह से बारिश पर निर्भर। अत: बारिश
हुई तो फसल होगी, नहीं तो खाने के भी लाले। राजस्थान के जैसलमेर जिले की
फतेहगढ़ तहसील के मंडाई गांव के किसान कमल सिंह सोलंकी के पास जमीन तो दो
हेक्टेयर से ज्यादा है लेकिन पिछले साल बारिश नहीं हुई जिस कारण खेतों दो
बार बुवाई के बाद ही फसल नहीं हुई।
कमल सिंह सोलंकी की तरह
राजस्थान के हजारों किसान हैं जिनके पास जमीन तो दो-चार हेक्टेयर से ज्यादा
है, लेकिन सिंचाई के अभाव में फसलों का उत्पादन आधा या एक एकड़ (सिचिंत
जमीन) से भी कम हो रहा है। कमल सिंह सोलंकी ने बताया कि हमारे पास जमीन दो
हेक्टेयर से ज्यादा है, इसलिए पीएम-किसान योजना के दायरे में नहीं आते,
लेकिन गांव के कुओं में पानी है नहीं, आसपास नहर भी नहीं है। इसलिए खेती
पूरी तरह से बारिश के भरोसे है। पिछले साल हमारे यहां बारिश नहीं हुई, जिस
कारण खेतों में बीज बोने के बाद, उगा ही नहीं। अत: किसानों को दोहरी मार
पड़ी। फसल की बुवाई का खर्च तो लगा, लेकिन पैदावार नहीं हुई। गांव की आबादी
करीब 2,200 है लेकिन पीएम-किसान योजना के दायरे में केवल एक चौथाई किसान
ही हैं।
दो हेक्टेयर से ज्यादा जमीन वाले किसानों के हालात चिंताजनक
अजमेर
जिले की पंचायत समिति श्रीनगर के गांव दातापंचायत के किसान डालचंद मेघवंशी
ने बताया कि सिंचाई सुविधा नहीं होने के कारण फसलों का उत्पादन पूरी तरह
से बारिश पर निर्भर है। जिन किसानों के पास दो हेक्टेयर से ज्यादा जमीन है,
उन्हें पीएम-किसान योजना का लाभ भी नहीं मिल रहा, जबकि बारिश आधारित होने
के कारण खेत खाली पड़े रहते हैं। ऐसे में दो हेक्टेयर से ज्यादा जमीन वाले
किसानों के हालात भी खराब है। बारिश हो तो बाजरा, मूंग, मक्का या फिर ग्वार
का थोड़ा-बहुत उत्पादन हो जाता है।
राज्य के करीब 40 फीसदी किसान पीएम-किसान के दायरे से बाहर
राजस्थान
में 76.66 लाख किसान हैं जिनमें से करीब 40 फसीदी किसान पीएम-किसान योजना
के दायरे बाहर रहेंगे। राजस्थान कृषि निदेशालय में संयुक्त निदेशक
(सांख्यिकी)/सीएसओ बी एस राठौर ने बताया कि वर्ष 2015-16 की कृषि जनगणना
रिपोर्ट के अनुसार राज्य में एक हेक्टेयर से कम भूमि वाले किसानों की
संख्या 30.61 लाख और दो हेक्टेयर तक जोत वाले किसानों की संख्या 16.77 लाख
है। अत: पीएम-किसान योजना के दायरे में राज्य के 47.38 लाख किसान ही
आयेंगे।
दो हेक्टेयर से ज्यादा जोत वाले किसानों की संख्या 29.17 लाख
उन्होंने
बताया कि राज्य में 2 से 4 हेक्टेयर तक जोत वाले किसानों की संख्या 14.16
लाख है, जबकि 4 से 10 हेक्टेयर की जोत वाले किसानों की संख्या 11.32 लाख
है। इसके अलावा राज्य में 10 हेक्टेयर से ज्यादा जोत वाले किसानों की तादाद
3.59 लाख है।
सालाना 6,000 देने की है योजना
अंतरिम
बजट 2019-20 में, केंद्र सरकार ने पीएम-किसान योजना की घोषणा की थी जिसके
तहत दो हेक्टेयर तक की खेती योग्य भूमि वाले छोटे और सीमांत किसानों को
6,000 रुपये प्रति वर्ष तीन किस्तों में दी जाएगी। इसके तहत 31 मार्च तक
2,000 रुपए की पहली किस्त देने का वादा किया गया था। सरकार ने 23 राज्यों
और एक केंद्रशासित प्रदेश में 2.18 करोड़ किसानों के खातों में 2,000 रुपये
की पहली किस्त हस्तांतरित कर दी है।........ आर एस राणा
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