आर एस राणा
नई दिल्ली। पहली अक्टूबर से शुरु हुए चालू पेराई सीजन 2017—18 में चीनी का उत्पादन बढ़कर 261 लाख टन होने का अनुमान है जोकि पहले आरंभिक अनुमान के मुकाबले 10 लाख टन अधिक है। उत्पादन अनुमान में बढ़ोतरी से चीनी की कीमतों में और गिरावट आने का अनुमान है।
इंडियन शुगर मिल्स एसोसिएशन (इस्मा) के एक प्रतिनिधिमंडल ने गुरुवार को खाद्य मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों को चीनी उत्पादन अनुमान और खपत की जानकारी दी। इस्मा के अनुसार पहले आरभिक अनुमान में चीनी का उत्पादन 251 लाख टन होने का अनुमान था। पिछले पेराई सीजन 2016—17 में चीनी मिलों ने लगभग 246 लाख चीनी की बिक्री की थी, जबकि चालू पेराई सीजन में चीनी की खपत 250 लाख टन होने का अनुमान है। अत: घरेलू बाजार में 10—11 लाख टन चीनी की उपलब्धता ज्यादा है।
चीनी की कुल उपलब्धता मांग की तुलना में ज्यादा है, जबकि घरेलू बाजार में चीनी के भाव दो साल के न्यूनतम स्तर पर आ गए हैं इसलिए उद्योग ने मांग की है कि चीनी निर्यात में केंद्र सरकार चीनी मिलों को कुछ छूट दे। इस समय चीनी पर 20 फीसदी निर्यात शुल्क है तथा मौजूदा स्थिति में निर्यात की संभावना नहीं है। खाद्य मंत्रालय के अनुसार चालू पेराई सीजन में चीनी का उपलब्धता सालाना खपत से ज्यादा ही है, इसलिए आयात की संभावना नहीं है। इस समय चीनी पर आयात शुल्क 40 फीसदी है।
चीनी के उत्पादन अनुमान में बढ़ोतरील से चीनी की कीमतों में और गिरावट आने का अनुमान है जिससे उपभोक्ताओं को सस्ती चीनी मिल सकेगी। गुरुवार को दिल्ली में चीनी के भाव 3,550 से 3,600 रुपये और उत्तर प्रदेश में चीनी के एक्स फैक्ट्री भाव 3,275 से 3,400 रुपये तथा महाराष्ट्र में चीनी के भाव 2,925 से 3,025 रुपये प्रति क्विंटल रह गए।............आर एस राणा
नई दिल्ली। पहली अक्टूबर से शुरु हुए चालू पेराई सीजन 2017—18 में चीनी का उत्पादन बढ़कर 261 लाख टन होने का अनुमान है जोकि पहले आरंभिक अनुमान के मुकाबले 10 लाख टन अधिक है। उत्पादन अनुमान में बढ़ोतरी से चीनी की कीमतों में और गिरावट आने का अनुमान है।
इंडियन शुगर मिल्स एसोसिएशन (इस्मा) के एक प्रतिनिधिमंडल ने गुरुवार को खाद्य मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों को चीनी उत्पादन अनुमान और खपत की जानकारी दी। इस्मा के अनुसार पहले आरभिक अनुमान में चीनी का उत्पादन 251 लाख टन होने का अनुमान था। पिछले पेराई सीजन 2016—17 में चीनी मिलों ने लगभग 246 लाख चीनी की बिक्री की थी, जबकि चालू पेराई सीजन में चीनी की खपत 250 लाख टन होने का अनुमान है। अत: घरेलू बाजार में 10—11 लाख टन चीनी की उपलब्धता ज्यादा है।
चीनी की कुल उपलब्धता मांग की तुलना में ज्यादा है, जबकि घरेलू बाजार में चीनी के भाव दो साल के न्यूनतम स्तर पर आ गए हैं इसलिए उद्योग ने मांग की है कि चीनी निर्यात में केंद्र सरकार चीनी मिलों को कुछ छूट दे। इस समय चीनी पर 20 फीसदी निर्यात शुल्क है तथा मौजूदा स्थिति में निर्यात की संभावना नहीं है। खाद्य मंत्रालय के अनुसार चालू पेराई सीजन में चीनी का उपलब्धता सालाना खपत से ज्यादा ही है, इसलिए आयात की संभावना नहीं है। इस समय चीनी पर आयात शुल्क 40 फीसदी है।
चीनी के उत्पादन अनुमान में बढ़ोतरील से चीनी की कीमतों में और गिरावट आने का अनुमान है जिससे उपभोक्ताओं को सस्ती चीनी मिल सकेगी। गुरुवार को दिल्ली में चीनी के भाव 3,550 से 3,600 रुपये और उत्तर प्रदेश में चीनी के एक्स फैक्ट्री भाव 3,275 से 3,400 रुपये तथा महाराष्ट्र में चीनी के भाव 2,925 से 3,025 रुपये प्रति क्विंटल रह गए।............आर एस राणा
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