आर एस राणा
नई दिल्ली। जनवरी महीने में ग्वार गम उत्पादों का निर्यात बढ़कर 44,000 टन का हुआ है जबकि पिछले साल जनवरी में इसका निर्यात 26,000 टन का ही हुआ था।
वाणिज्य मंत्रालय के अनुसार चालू वित्त वर्ष 2016-17 के पहले 10 महीनों अप्रैल से जनवरी के दौरान ग्वार गम उत्पादों का निर्यात बढ़कर 3.22 लाख टन का हो चुका है जबकि पिछले वित्त वर्ष 2015-16 की समान अवधि में इनका निर्यात 2.71 लाख टन का ही हुआ था।
वित्त वर्ष 2015-16 में ग्वार गम उत्पादों का कुल निर्यात 3.25 लाख टन का हुआ था। वर्तमान में हो रहे निर्यात सौदों को देखते हुए फरवरी और मार्च में करीब 80 से 90 हजार ग्वार गम उत्पादों का निर्यात होने का अनुमान है। ऐसे में कुल निर्यात 4 लाख टन से ज्यादा हो जायेगा।
चालू साल में अलनीनो का प्रभाव होने से बारिश कम होने की आशंका है, इसलिए स्टॉकिस्ट ग्वार गम और ग्वार सीड की कीमतों में आगे लायेगा। चालू सीजन में जरुर ग्वार सीड की पैदावार कम हुई है, लेकिन उत्पादक राज्यों में पिछले साल का बकाया स्टॉक ज्यादा मात्रा में बचा हुआ है। अप्रैल में मानूसन विभाग का पहला अनुमान आयेगा, उसके बाद ही आगे ग्वार सीड और ग्वार गम की कीमतों की तेजी-मंदी उसी आधार पर तय होगा।.............आर एस राणा
नई दिल्ली। जनवरी महीने में ग्वार गम उत्पादों का निर्यात बढ़कर 44,000 टन का हुआ है जबकि पिछले साल जनवरी में इसका निर्यात 26,000 टन का ही हुआ था।
वाणिज्य मंत्रालय के अनुसार चालू वित्त वर्ष 2016-17 के पहले 10 महीनों अप्रैल से जनवरी के दौरान ग्वार गम उत्पादों का निर्यात बढ़कर 3.22 लाख टन का हो चुका है जबकि पिछले वित्त वर्ष 2015-16 की समान अवधि में इनका निर्यात 2.71 लाख टन का ही हुआ था।
वित्त वर्ष 2015-16 में ग्वार गम उत्पादों का कुल निर्यात 3.25 लाख टन का हुआ था। वर्तमान में हो रहे निर्यात सौदों को देखते हुए फरवरी और मार्च में करीब 80 से 90 हजार ग्वार गम उत्पादों का निर्यात होने का अनुमान है। ऐसे में कुल निर्यात 4 लाख टन से ज्यादा हो जायेगा।
चालू साल में अलनीनो का प्रभाव होने से बारिश कम होने की आशंका है, इसलिए स्टॉकिस्ट ग्वार गम और ग्वार सीड की कीमतों में आगे लायेगा। चालू सीजन में जरुर ग्वार सीड की पैदावार कम हुई है, लेकिन उत्पादक राज्यों में पिछले साल का बकाया स्टॉक ज्यादा मात्रा में बचा हुआ है। अप्रैल में मानूसन विभाग का पहला अनुमान आयेगा, उसके बाद ही आगे ग्वार सीड और ग्वार गम की कीमतों की तेजी-मंदी उसी आधार पर तय होगा।.............आर एस राणा
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