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13 अगस्त 2025

सीसीआई 71.47 लाख गांठ कॉटन की कर चुकी है बिक्री, सबसे ज्यादा महाराष्ट्र में

नई दिल्ली। कॉटन कारपोरेशन ऑफ इंडिया, सीसीआई चालू फसल सीजन 2024-25 के दौरान खरीदी हुई 71,47,600 गांठ, एक गांठ - 170 किलो कॉटन की बिक्री 8 अगस्त तक घरेलू बाजार में कर चुकी है। अत: निगम के पास अब 29 लाख गांठ से कम का स्टॉक बचा हुआ है।


सूत्रों के अनुसार सीसीआई ने चालू फसल सीजन 2024-25 की खरीदी हुई सबसे ज्यादा कॉटन की बिक्री महाराष्ट्र में 26,65,400 गांठ की है। इसके अलावा निगम ने तेलंगाना में 21,15,100 गांठ, गुजरात में 12,10,300 गांठ तथा कर्नाटक में 4,57,300 गांठ कॉटन 8 अगस्त तक बेची है। अन्य राज्यों मध्य प्रदेश में निगम ने 2,92,900 गांठ, ओडिशा में 1,67,400 गांठ के अलावा आंध्र प्रदेश में 1,27,900 गांठ तथा हरियाणा में 56,800 गांठ के अलावा राजस्थान में 52,700 गांठ तथा पंजाब में 1,800 गांठ की बिक्री की है।

व्यापारियों के अनुसार भारतीय कॉटन बाजार में इस समय अनिश्चितता बनी हुई है, क्योंकि एक तरफ जहां विश्व बाजार में इसके दाम घरेलू बाजार की तुलना में नीचे बने हुए है वहीं दूसरी तरफ अमेरिका द्वारा 50 फीसदी टैरिफ लगा देने से गारमेंट उत्पादों का निर्यात भी प्रभावित होने का डर है। सूती धागे की स्थानीय एवं निर्यात मांग कमजोर है जबकि उत्तर भारत के राज्यों में नई फसल की आवक सितंबर में तथा अन्य राज्यों में अक्टूबर में बनेगी। यही हालात बने रहे तो पहली अक्टूबर 2025 से शुरू होने वाले नए सीजन में सीसीआई को कॉटन की खरीद चालू सीजन में खरीद गई 100 लाख गांठ से भी ज्यादा मात्रा में करनी पड़ सकती है। अत: नई फसल की आवक बनने पर कॉटन की कीमतों में तेजी, मंदी काफी हद तक सीसीआई की खरीद कैसी होती है इस पर भी निर्भर करेगी।

स्पिनिंग मिलों की मांग सीमित होने के कारण सोमवार को शाम के सत्र में गुजरात के साथ ही उत्तर भारत के राज्यों में कॉटन की कीमत स्थिर बनी रही।

गुजरात के अहमदाबाद में 29 शंकर-6 किस्म की कॉटन के भाव सोमवार को 56,500 से 56,700 रुपये प्रति कैंडी, एक कैंडी-356 किलो पर स्थिर हो गए।

पंजाब में रुई हाजिर डिलीवरी के भाव 5,970 से 5,980 रुपये प्रति मन बोले गए। हरियाणा में रुई के भाव हाजिर डिलीवरी के भाव 5,840 से 5,850 रुपये प्रति मन बोले गए। ऊपरी राजस्थान में रुई के भाव हाजिर डिलीवरी के दाम 5,980 से 6,000 रुपये प्रति मन बोले गए।लोअर राजस्थान में रुई के भाव हाजिर डिलीवरी के दाम 57,100 से 57,200 रुपये कैंडी बोले गए।

देशभर की मंडियों में कपास की आवक 5,550 गांठ, एक गांठ-170 किलो की हुई।

घरेलू वायदा कारोबार में कॉटन की कीमतों में गिरावट का रुख रहा। एनसीडीईएक्स पर अप्रैल 26 महीने के वायदा अनुबंध में कपास के दाम 6 रुपये कमजोर होकर 1,584 रुपये प्रति 20 किलो रह गए। आईसीई के इलेक्ट्रॉनिक ट्रेडिंग में कॉटन की कीमतों में तेजी का रुख रहा।

कृषि मंत्रालय के अनुसार 1 अगस्त तक चालू खरीफ सीजन देशभर में कपास की बुआई 2.36 फीसदी कम होकर 105.87 लाख हेक्टेयर में ही हो पाई है, जबकि पिछले साल इस समय तक 108.43 लाख हेक्टेयर में बुआई हो चुकी थी।

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