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23 मई 2013

खाद्य प्रबंधन नीति दोषपूर्ण : गुलाटी

कृषि लागत एवं मूल्य आयोग (सीएसीपी) के चेयरमैन अशोक गुलाटी ने खाद्यान्न की ऊंची कीमतों और सरकारी गोदामों में इसके भारी स्टॉक की विरोधाभासी स्थिति के लिए वर्तमान खाद्य प्रबंधन नीति को जिम्मेदार बताया है। उन्होंने कहा कि खाद्यान्न की जरूरत से ज्यादा खरीदारी कर अर्थव्यवस्था में धन की आपूर्ति बढ़ाई जा रही है, लेकिन इस खाद्यान्न की बाजार में आपूर्ति नहीं की जा रही है। बफर स्टॉक नीति पर एक पत्र में गुलाटी ने सरकार को सुझाव दिया है कि देश में खाद्य प्रबंधन को फायदे का सौदा बनाने के लिए अतिरिक्त खाद्यान्न की बिक्री की जानी चाहिए। गुलाटी ने दावा किया कि उनके इस विचार को मूर्तरूप देने से खाद्य महंगाई को नीचे लाने और राजकोषीय घाटे को कम करने में मदद मिलेगी। कंपनियों को 10.2 करोड़ टन खाद्यान्न के निर्यात की मंजूरी देने से भी देश के बढ़ते चालू खाते के घाटे को नीचे लाने में मदद मिल सकती है। गुलाटी के इस पत्र की सीएसीपी की संयुक्त निदेशक सुरभि जैन सहलेखिका हैं। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा विधेयक के मद्देनजर जितने बफर स्टॉक की जरूरत है, उससे बहुत ज्यादा खाद्यान्न का स्टॉक केंद्रीय एजेेंसियों के पास है। (BS Hindi)

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